Monday, 17 February 2020


2222,222,222

सागर सी आँखें हैं बस तेरी हीं,
फूलों सी बातें हैं बस तेरी हीं,
तू हीं है बस चाहत का आईना,
सागर सी आँखें हैं बस तेरी हीं 

रूबाई
कवि मनीष 
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