Sunday, 4 August 2019

रूबाई

२२२२,२२२,२२२
जीवन के हर पल को तू जी हर दम,
जीवन के हर क्षण को तू जी हर दम,
इक दिन तो जाना है सबको हीं तो,
जीवन के हर पल को तू जी हरदम

रूबाई
कवि मनीष 

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